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क्या हरियाणा में आया राम, गया राम से बनेगी सरकार?

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हरियाणा में अकेले सरकार बनाने की स्थिति में नहीं कोई भी राजनैतिक दल  थ्री इडियट फिल्म के 'ऑल इज वैल' के फार्मूले को अपना रही है कांग्रेस पार्टी नरेंद्र कुंडू जींद। साल 2014 से चुनावी मौसम शुरू होने वाला है। इसी को मद्देनजर रखते हुए सभी राजनैतिक दलों ने अपने लंगर-लंगोट कसने शुरू कर दिए हैं। हरियाणा में पूरी तरह से राजनीति माहौल गर्मा चुका है। सभी राजनैतिक दलों ने अपने-अपने पक्ष में माहौल तैयार करने के लिए अपने घोड़े दौड़ाने शुरू कर दिए हैं। हाल ही में घोषित हुए दिल्ली, मध्यप्रदेश, राजस्थान, छतीसगढ़ व मिजोरण के चुनाव परिणाम ने प्रदेश की राजनीति में उफान पैदा कर दिया है। मध्यप्रदेश, राजस्थान, छतीसगढ़ चुनाव में भाजपा को विजयश्री मिलने तथा दिल्ली में सबसे ज्यादा सीटें भाजपा के पक्ष में जाने के बाद कांग्रेस पार्टी हिलोरे खाने लगी है। इसी के चलते अब दिल्ली में बैठे कांग्रेस के सिपेसलहारों ने आगामी चुनाव में अपनी लाज बचाने के लिए पार्टी की कार्यप्रणाली पर मंथन भी शुरू कर दिया है। वहीं हाल ही में कांग्रेस पार्टी की इस बड़ी हार ने हरियाणा प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेंद्र ङ्क्षसह