जींद उपचुनाव राजनीतिक दलों के लिए बना प्रतिष्ठा का सवाल

उपचुनाव को लेकर टिकटार्थियों ने कसे लंगोट
--टिकट के लिए अपने-अपने घोड़े दौड़ा रहे टिकटार्थी
--भाजपा पर टिककी सभी राजनीतिक दलों की नजर 

जींद, 5 जनवरी (नरेंद्र कुंडू):- जींद उपुचनाव की घोषणा के साथ ही चुनाव लडऩे के इच्छुक उम्मीदवारों ने भी अपने लंगोट कस लिए हैं। टिकट के लिए उम्मीदवार अपनी-अपनी गोटियां फिट करने में लगे हुए हैं। कुछ टिकटार्थी तो पिछले कई दिनों से दिल्ली के दरबार में अपने आकाओं के पास माथा टेक रहे हैं। वहीं राजनीतिक दलों ने भी टिकट के लिए उम्मीदवारों की दावेदारी को लेकर फील्ड से फीडबैक लेना शुरू कर दिया है। क्योंकि जींद उपचुनाव सभी राजनीतिक दलों के लिए नाक का सवाल बना हुआ है। सभी राजनीतिक दलों की नजरें इस समय भाजपा पर टिकी हुई हैं। दूसरे राजनीतिक दल इस बात के इंतजार में हैं कि भाजपा कब अपना उम्मीदवार घोषित करे। ताकि दूसरे दल भी अपना उम्मीदवार मैदान में उतारने के लिए समीकरण बना सकें। भाजपा के उम्मीदवार की घोषणा के बाद ही दूसरे राजनीतिक दल अपने पत्ते खोलेंगे लेकिन भाजपा अभी अपने पत्ते नहीं खोल रही है। क्योंकि भाजपा को भी इस बात का अंदेशा है कि यदि उन्होंने समय से पहले पत्ते खोल दिए तो उनकी पार्टी में टिकट की लाइन में खड़े दूसरे उम्मीदवार टिकट नहीं मिलने से नाराज होकर दूसरी पार्टी में जा सकते हैं। इसके चलते भाजपा नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि से एक दिन पहले ही अपने उम्मीदवार की घोषणा कर सकती है। ताकि टिकट नहीं मिलने से मायूस दूसरे उम्मीदवारों को पाला बदलने के लिए समय नहीं मिले। 

उम्मीदवारों की नब्ज टटोल रही जजपा व इनैलो

जींद उपचुनाव के साथ ही इनैलो व जजपा ने भी अपने-अपने उम्मीदवार मैदान में उतारने से पहले उम्मीदवारों व कार्यकर्ताओं की नब्ज टटोलनी शुरू कर दी है। फिल्हाल इनैलो व जजपा मजबूत चेहरे को ढुंढ़ रही है ताकि इस सैमीफाइनल को जीत कर वह आगामी विधान सभा चुनाव के फाइनल के लिए अपना माहौल तैयार कर सकें। यह भी कयास लगाए जा रहे हैं कि इनैलो उपचुनाव में यह सीट गठबंधन दल बसपा के उम्मीदवार को भी उतार सकती है। 

पूर्व मंत्री मांगेराम गुप्ता पर दांव खेल सकती है भाजपा

भाजपा में टिकट के दावेदारों की फेरहिस्त काफी लंबी है। इसके चलते भाजपा के पर्यवेक्षकों ने मजबूत उम्मीदवार की तलाश में शुक्रवार को जींद में पहुंच कर कार्यकर्ताओं की नब्ज टटोली थी। इस दौरान पर्यवेक्षकों के सामने 11 उम्मीदवारों ने अपनी दावेदारी पेश की थी लेकिन यह कयाश लगाए जा रहे हैं कि भाजपा उपचुनाव में पूर्व मंत्री मांगेराम गुप्ता पर अपना दांव खेल सकती है। क्योंकि उपचुनाव में भाजपा की प्रतिष्ठा दाव पर है। इसलिए भाजपा किसी भी कीमत पर इस उपचुनाव को हारना नहीं चाहती। क्योंकि आगामी विधानसभा चुनाव पर इस उपचुनाव का सीधा प्रभाव पड़ेगा। यह भी कह सकते हैं कि आगामी विधानसभा चुनाव से पहले यह चुनाव सैमीफाइनल है। इसके चलते भाजपा पूर्व मंत्री मांगेराम गुप्ता को जींद विधानसभा सीट पर सबसे मजबूत उम्मीदवार मान रही है। हालांकि मांगेराम गुप्ता द्वारा पर्यवेक्षकों के सामने शुक्रवार को अपनी दावेदारी पेश नहीं की गई थी। लेकिन सूत्रों की मानें तो भाजपा के वरिष्ठ नेता लगातार पूर्व मंत्री मांगेराम गुप्ता से सम्पर्क कर रहे हैं। क्योंकि मांगेराम गुप्ता लगभग आठ बार जींद विधानसभा सीट से चुनाव लड़ चुके हैं और चार बार वह यहां से चुनाव जीत कर विधायक व मंत्री बन चुके हैं।  

जींद उपचुनाव लड़कर बेटे महावीर गुप्ता के लिए पीच तैयार करेंगे मांगेराम गुप्ता

पूर्व मंत्री मांगेराम गुप्ता ने 2009 में कांग्रेस की टिकट पर चुनाव हारने के बाद कांग्रेस को अलविदा कह दिया था। इसके बाद मांगेराम गुप्ता 2013 इनैलो में शामिल हुए थे लेकिन 2014 में विधानसभा चुनाव में इनैलो द्वारा मांगेराम गुप्ता को टिकट नहीं देने से नाराज होकर मांगेराम गुप्ता ने इनैलो से भी दूरी बना ली थी। अब जींद उपचुनाव की घोषणा के बाद से भाजपा, कांग्रेस, इनैलो व जजपा (जननायक जनता पार्टी) लगातार पूर्व मंत्री मांगेराम गुप्ता को अपने पक्ष में लाकर चुनाव लड़ाने के लिए तैयार हैं। भाजपा के कई वरिष्ठ नेता मांगेराम गुप्ता से लगातार सम्पर्क कर रहे हैं। वहीं इनैलो के विधायक एवं नेता प्रतिपक्ष अभय चौटाला ने भी शुक्रवार देर रात्रि मांगेराम गुप्ता से मुलाकात कर लगभग आधे घंटे तक बंद कमरे में बातचीत की। जजपा के वरिष्ठ नेता एवं सांसद दुष्यंत चौटाला भी अलग पार्टी बनाने के बाद मांगेराम गुप्ता से कई बार मुलाकात कर चुके हैं। इसके अलावा कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेता भी मांगेराम गुप्ता से सम्पर्क कर रहे हैं। लेकिन मांगेराम गुप्ता स्वयं चुनाव नहीं लड़कर अपने बेटे महावीर गुप्ता को चुनाव लड़वाना चाहते थे। लेकिन सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार राजनीतिक दलों से बढ़ते दबाव के चलते मांगेराम गुप्ता स्वयं चुनाव लड़ सकते हैं। यदि मांगेराम गुप्ता उपचुनाव स्वयं लड़ते हैं और वह यह उपचुनाव जीतने में सफल रहते हैं तो वह आगामी विधानसभा चुनाव में अपने बेटे महावीर गुप्ता के लिए राजनीति की पिच तैयार कर देंगे। 

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