सामाजिक कुरीतियों के खिलाफ एक बार फिर खाप पंचायतों ने भरी हुंकार

बिनैन खाप प्रधान रघबीर नैन के नेतृत्व में 51 सदस्यीय कमेटी सामाजिक कुरीतियों के खिलाफ लड़ेगी लड़ाई

जींद जिले के नरवाना के गांव दनौदा स्थित सर्वजातीय बिनैन खाप के ऐतिहासिक चबूतरे से 28 जुलाई को एक बार फिर से सामाजिक कुरीतियों के खिलाफ खाप पंचायतों ने हुंकार भरी। सामाजिक कुरीतियों को दूर करने के लिए उत्तरी भारत की सर्व खापों का महासम्मेलन हुआ। सम्मेलन में उत्तर भारत के लगभग 300 खापों के प्रतिनिधियों समेत आस-पास की खापों से 10 हजार लोग शामिल हुए। महासम्मेलन का संचालन पूर्व प्रधान स्व. नफे सिंह नैन के पुत्र ईश्वर नैन व मास्टर मेहर सिंह ने संयुक्त रुप से किया। सर्वप्रथम सर्व खाप प्रतिनिधियों ने सम्मेलन की अध्यक्षता के लिए बिनैन खाप प्रधान रघबीर नैन को चुना, जिसकी घोषणा झज्जर जिले की देशवाल खाप प्रधान 92 वर्षीय उमेद सिंह देशवाल ने की। उसके बाद अध्यक्ष रघबीर नैन ने समाज को नई दिशा देने के लिए द्रोणाचार्य की तपोभूमि दनौदा में आए सर्वजाति सर्वधर्म सम्मेलन में मौजूद सभी सर्व खाप प्रतिनिधियों व आए हुए लोगों का आभार व्यक्त किया। उन्होंने महासम्मेलन में उठाए जाने वाले सामाजिक मुद्दों प्रेम विवाह, लिव इन रिलेशनशिप तथा समलैंगिकता को पंचायत के सम्मुख रखा। इसके साथ-साथ खाप प्रतिनिधियों ने सभी लोगों से दूषित हो रहे पर्यावरण पर चिंता व्यक्त करते हुए पर्यावरण संरक्षण के लिए अधिक से अधिक पौधारोपण करने का भी आह्वïान किया। 





खाप की 51 सदस्यीय कमेटी चलाएगी सामाजिक कुरीतियों के खिलाफ अभियान

महासम्मेलन में सर्व खाप प्रतिनिधियों ने अपने-अपने सुझाव दिए और अंत में खाप प्रतिनिधियों की रघबीर नैन की अध्यक्षता में कमेटी गठन के लिए एक बैठक हुई, जिसमें लिए फैसले को सर्व खाप के राष्ट्रीय प्रवक्ता सूबे सिंह समैन ने सुनाया। उन्होंने बताया कि बिनैन खाप प्रधान रघबीर नैन की अगुवाई में 51 सदस्यीय कमेटी बनाई जाएगी, जो सामाजिक कुरीतियों प्रेम विवाह में माता-पिता की सलाह, लिव इन रिलेशनशिप पर रोक लगाने तथा समलैंगिकता पर पूर्ण प्रतिबंध लगवाने के लिए लड़ाई लड़ेगी। इसके लिए चाहे कमेटी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्टï्रपति या अन्य किसी राजनेता से भी क्यों न मिलना पड़े। अगर फिर भी उनकी बात को नहीं सुना गया तो राष्ट्रीय स्तर पर एक बड़ा आंदोलन भी किया जा सकता है। कमेटी के गठन के बाद अध्यक्ष रघबीर नैन सदस्यों की सलाह से पदाधिकारी चुनेंगे। उन्होंने कहा कि स्वेच्छा से वही सदस्य कमेटी में आएं जो तन, मन व धन से सहयोग करने में समर्थ हों।


हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, यूपी सहित उत्तरी भारत से खाप प्रतिनिधियों ने रखे विचार

महासम्मेलन में हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, यूपी सहित खाप प्रतिनिधियों ने अपने अपने विचार रखे। सभी का यही एकमत रहा कि तुम एक कदम उठाओगे, हम 10 कदम उठाने को तैयार हैं। वक्ताओं में प्रमुख रूप से सर्व खाप राष्ट्रीय प्रवक्ता सूबे सिंह समैन, खत्री खाप से सुरेंद्र सिंह, सरोहा खाप से रणधीर सिंह, गठवाला खाप से माणिक लाल, नांदल खाप से ओमप्रकाश, कलकल खाप से राजपाल, पुनिया खाप से शमशेर सिंह, सतरोल खाप से दलबीर खरब, बैनीवाल खाप से भरत सिंह, कादियान खाप से राजपाल, देशवाल खाप से उमेद सिंह, थुआ खाप से सोमदत्त शर्मा, कंडेला खाप से ओमप्रकाश, माजरा खाप से गुरविंदर, दाडऩ खाप से सूरजमल, ढिल्लो खाप से सुरेंद्र, सांगवान खाप से सोमबीर विधायक, उत्तर प्रदेश की खाप से राजबीर मुंडेर, यूपी की 52 पाल प्रधान अरुण जैलदार, दिल्ली से दयानंद देशवाल, रामकुमार सोलंकी, जागलान खाप से राजसिंह, चौहान पाल से दयाल सिंह, चौरासी खाप से भीम सिंह, सिक्किम श्योकंद, रीमन नैन, रश्मि बाल्याण, महिला खाप राष्ट्रीय अध्यक्ष संतोष दहिया, विनोद बाला, सैन समाज से सुभाष, कश्यप समाज से ओमपाल, पूनम श्योकंद, मोनिका नैन सम्मिलित रहे। खापों के प्रतिनिधियों ने सभ्य समाज की स्थापना के लिए सामाजिक मर्यादाओं एवं संस्कारों का गांव स्तर पर प्रचार एवं प्रसार करने का अनुरोध किया। महासम्मेलन में पर्यावरण संरक्षण, दहेज प्रथा, बाल विवाह पर रोक, नशा मुक्ति तथा सांस्कारिक शिक्षा का अधिकाधिक प्रचार-प्रसार करने पर भी खुल कर चर्चा की।

दीवारों व फ्लैक्स पर लिखे स्लोगनों के माध्यम से बताया खाप का महत्व

दीवारों व जगह-जगह फ्लैक्स लगाये गए थे, जिन पर खाप का क्या महत्व है, यह दर्शाया गया है। स्लोगन में बताया गया था कि खाप दो शब्दों से मिलकर बना है, ख और आप। ख का अर्थ है आकाश और आप का अर्थ है जल अर्थात ऐसा संगठन जो आकाश की तरह सर्वोपरि हो और पानी की तरह स्वच्छ, निर्मली और सबके लिए उपलब्ध और न्यायकारी हो। वहीं बिनैन खाप का गौरव स्थापना वर्ष 1387 ई. दर्शाया गया था, जिसमें शुरू से लेकर बाबा श्योराम नैन, बाबा कन्हैया नैन, बाबा हजारी नैन, बाबा मोमन राम नैन, बाबा टेकराम नैन और बाबा नफे सिंह नैन बने बिनैन खाप के प्रधानों को आदर्श व प्रेरणा स्त्रोत बताया। स्लोगनों के माध्यम से खाप पंचायतें तालिबान नहीं, बल्कि तालिम दान बताया। खाप को एक बगीचा बताया, जिसमें हर तरह के फूल खिलते हैं अर्थात् खाप मेें हर जाति, गोत्र, धर्म और संगठन सम्मिलित हैं। यह भी बताया गया कि कैसे खाप पंचायतें जननी माता, गौ माता और धरती माता की मर्यादा रखती हैं।  जीव एवं प्रकृति की रक्षा खापों का ध्येय है।

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